वास्तु शास्त्र पॉजिटिव व नेगेटिव ऊर्जा के सिद्धांत पर कार्य करता है। यदि घर में या घर के आस-पास कोई ऐसी वस्तु हो, जिससे नेगेटिव ऊर्जा निकलती हो तो यह गंभीर वास्तु दोष की श्रेणी में आता है। ऐसे दोषों को इस प्रकार दूर किया जा सकता है-
1. घर के आंगन में सूखे एवं भद्दे दिखने वाले पेड़ जीवन के अंत की ओर इशारा करते हैं। ऐसे पेड़ों या ठूंठ को शीघ्र ही कटवा देना चाहिए।
2. इंटीरियर डेकोरेशन के लिए कुछ ऐसी कलाकृतियों का प्रयोग होता है जो सूखे ठूंठ या नकारात्मक आकृति के होते हैं। ये सभी मृतप्राय: सजावटी वस्तुएं वास्तु शास्त्र में अच्छे नहीं माने जाते हैं अत: इनके प्रयोग से भी बचें।
3. यदि ड्रॉइंग रूम में फूलों को सजाते हैं तो ध्यान दें कि उन्हें प्रतिदिन बदलते रहना जरूरी है। चूंकि जब ये फूल मुरझा जाते हैं तो इनसे नेगेटिव एनर्जी निकलने लगती है।
4. कभी-कभी बेडरूम की खिड़की से नेगेटिव वस्तुएं दिखाई देती हैं जैसे- सूखा पेड़, फैक्ट्री की चिमनी से निकलता हुआ धुआं आदि। ऐसे दृश्यों से बचने के लिए खिड़कियों पर परदा डाल दें।
5. किसी भी भवन के मुख्य द्वार के पास या बिल्कुल सामने बिजली के ट्रांसफार्मर लगे होते हैं जिनसे चिंगारियां निकलती हैं । ऐसे दृश्य भी नेगेटिव ऊर्जा फैलाते हैं।
6. पुराने भवन के भीतर कमरों की दीवारों पर सीलन पैदा होने से बनी भद्दी आकृतियां भी नेगेटिव ऊर्जा का सूचक होती हैं। ऐसी दीवारों की तुरंत रिपेयरिंग करवा लें।
7. घर में टूटी-फूटी वस्तुएं नहीं रखें, इनसे भी नेगेटिव एनर्जी घर में फैलती है।
8. टूटे कांच, बंद घड़ियां व बंद टीवी भी हॉल में नहीं रखनी चाहिए। अगर रखना ही हो तो ऐसे स्थान पर रखें जहां किसी की नजर न पड़े।
9. घर की छत पर कबाड़ न इकट्ठा होने दें। समय-समय पर सफाई करते रहें।
10. जहां तक हो घर में तहखाना यानी बेसमेंट न बनवाएं।
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